Apr 3, 2023, 08:04 IST

भारत की उपलब्धि: इसरो की सफलता

भारत की उपलब्धि: इसरो की सफलता

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) बीते कुछ सालों से लगातार एक के बाद एक कीर्तिमान स्थापित कर रहा है। इसरो ने रविवार को दोबारा उपयोग में लाए जा सकने वाले प्रक्षेपण यान की स्वतः लैंडिंग का मिशन सफलतापूर्वक पूरा कर लिया है।

यह परीक्षण इसरो ने डीआरडीओ और भारतीय वायु सेना के साथ किया। इस सफल परीक्षण के साथ ही भारत दोबारा इस्तेमाल किए जा सकने वाला प्रक्षेपण-यान बनाने के और करीब पहुंच गया है। पिछले दिनों इसरो ने कुल 5805 किलोग्राम वजनी 36 उपग्रह एक साथ लांच कर नया इतिहास रचा। इसरो की स्थापना 1969 में हुई।

भारत ने अपने बलबूते पर अंतरिक्ष में अपनी पैठ बनाने में कई स्तरों पर बेहतरीन प्रयोगों और उसमें सफलता के जरिये स्वयं को एक मजबूत केन्द्र के रूप में विश्व के समक्ष साबित किया है। वैज्ञानिकों के मुताबिक आने वाले दिनों में इसरो अनुसंधान और विकास पर अधिक ध्यान देकर अंतरिक्ष के क्षेत्र में बड़ी कामयाबी हासिल करेगा।

एक तरफ जहां अमेरिका सहित कई देशों के अंतरिक्ष मिशनों को झटके लगते रहे हैं और उनका अंतरिक्ष कार्यक्रम पिछड़ रहा है, वहीं इसरो लगातार सफलता के मार्ग पर अग्रसर है।

इसरो के जरिये भारत पहले ही प्रयास में मंगल तक सफलतापूर्वक पहुंचने वाला पहला देश बना। यही कारण है कि अपने उपग्रहों के अतंरिक्ष में प्रक्षेपण के लिए दुनिया अब बड़ी उम्मीदों से इसरो का रूख कर रही है। इसरो के वैज्ञानिक शीघ्र ही एक ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान के व्यावसायिक प्रक्षेपण की तैयारी कर रहे हैं।

इसरो की अगले साल जून में चंद्रयान-3 मिशन को चंद्रमा पर लांच करने की योजना पर काम करना है जिसके तहत गगनयान मिशन में तीन सदस्यों के एक दल को तीन दिवसीय मिशन के लिए 400 किलोमीटर की कक्षा में भेजा जाएगा। अंतरिक्ष की दुनिया में इसरो जिस प्रकार लगातार सफलता का परचम लहरा रहा है, उससे इस मिशन को 2024 की चौथी तिमाही में लांच करने का लक्ष्य रखा गया है।

गर्व की बात है कि अंतरिक्ष विज्ञान की दुनिया में भारत का दबदबा निरंतर बढ़ रहा है। सफल मिशनों की बदौलत भविष्य में इसरो को आर्थिक लाभ तो होगा ही, अंतरिक्ष विज्ञान की दुनिया में पूरी दुनिया भारतीय वैज्ञानिकों का दम भी देखेगी और इससे दुनिया के छोटे देश भी अपने अभियानों के लिए भारत की ओर आकर्षित होंगे। इससे देश के अंतरिक्ष कारोबार को भी बढ़ावा मिलेगा।