इस देरी के कारण भारी मात्रा में धन बर्बाद हो गया था। अब जब बांध पूरा हो गया है, आप अच्छी तरह से अंदाजा लगा सकते हैं कि उन अर्बन नक्सलियों दावे कितने संदिग्ध थे। पीएम ने कहा कि ये शहरी नक्सली अब भी सक्रिय हैं। मैं आपसे यह सुनिश्चित करने का आग्रह करता हूं कि पर्यावरण के नाम पर परियोजनाएं अनावश्यक रूप से ठप न हों। साजिश का मुकाबला करने के लिए हमारे पास एक संतुलित दृष्टिकोण होना चाहिए। पीएम मोदी ने कहा कि आजकल हम देखते हैं कि कभी जिन राज्यों में पानी की बहुलता थी, ग्राउंड वॉटर ऊपर रहता था, वहां आज पानी की किल्लत दिखती है। यह चुनौती सिर्फ पानी से जुड़े विभाग की ही नहीं है, बल्कि पर्यावरण विभाग को भी इसे उतना ही बड़ी चुनौती समझना होगा।
जब पीएम ने आधी रात पूछा, जागे हो!
न्यूयॉर्क पहुंचे विदेश मंत्री एस जयशंकर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ काम करने का अनुभव साझा किया। इस दौरान उन्होंने 2016 में अफगानिस्तान में भारतीय दूतावास पर हुए हमले का दौर याद किया। उन्होंने कहा कि आधी रात हो रही थी और अफगानिस्तान के मजार-ए-शरीफ में हमारे कॉन्स्युलेट पर हमला हुआ था और हम क्या हुआ है, यह पता लगाने के लिए फोन का इस्तेमाल कर रहे थे। उन्होंने कहा कि यह सब चल ही रहा था और आप फोन के जरिए सभी को जानकारियां दे रहे थे। इसके बाद मेरा फोन बजा। जब प्रधानमंत्री कॉल करते हैं, तो कोई कॉलर आईडी नहीं आती। उनका पहला सवाल था- जागे हो? विदेश मंत्री ने आगे बताया कि पीएम ने उनसे पूछा कि जागे हो?… अच्छा टीवी देख रहे हो… तो क्या हो रहा है वहां। जयशंकर ने पीएम से बातचीत को लेकर बताया कि मैंने उन्हें कहा कि इसमें कुछ घंटे और लगेंगे और मैं उनके कार्यालय में कॉल कर दूंगा। इस पर उन्होंने जवाब दिया कि मुझे फोन कर देना।